महाकुंभ में हर दिल को, शांति का अनुभव हो (mahaakumbh mein har dil ko shaanti ka anubhav ho lyrics in hindi) - Bhaktilok

Deepak Kumar Bind


 महाकुंभ में हर दिल को, शांति का अनुभव हो (mahaakumbh mein har dil ko shaanti ka anubhav ho lyrics in hindi) - 


महाकुंभ में हर दिल को,

शांति का अनुभव हो।

हर दिशा से गूँजे जयकार,

सुख-समृद्धि का भाव हो।


गंगा के निर्मल जल से,

मन का हर कलुष मिट जाए।

हर हृदय में प्रेम जगे,

हर मन में उल्लास आए।


हर कण-कण में बसी हो,

सत्य और धर्म की गूँज।

हर जीवन में हो प्रकाश,

हर अंधकार हो दूर।


महाकुंभ में हर दिल को,

शांति का अनुभव हो।

हर दिशा से गूँजे जयकार,

सुख-समृद्धि का भाव हो।


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