जय अम्बे गौरी मैया जय श्यामा गौरी आरती (Jai Ambe Gauri Maiya Jai Shyama Gauri Lyrics in Hindi) - Maa Ambe Aarti - Bhaktilok

Deepak Kumar Bind

जय अम्बे गौरी मैया जय श्यामा गौरी आरती (Jai Ambe Gauri Maiya Jai Shyama Gauri Lyrics in Hindi) - 


जय अम्बे गौरी
मैया जय श्यामा गौरी ।
तुमको निशदिन ध्यावत
हरि ब्रह्मा शिवरी ॥
ॐ जय अम्बे गौरी.....॥

मांग सिंदूर विराजत
टीको मृगमद को ।
उज्ज्वल से दोउ नैना
चंद्रवदन नीको ॥
ॐ जय अम्बे गौरी.....॥

कनक समान कलेवर
रक्ताम्बर राजै ।
रक्तपुष्प गल माला
कंठन पर साजै ॥
ॐ जय अम्बे गौरी.....॥

केहरि वाहन राजत
खड्ग खप्पर धारी ।
सुर-नर-मुनिजन सेवत
तिनके दुखहारी ॥
ॐ जय अम्बे गौरी.....॥

कानन कुण्डल शोभित
नासाग्रे मोती ।
कोटिक चंद्र दिवाकर
सम राजत ज्योती ॥
ॐ जय अम्बे गौरी.....॥

शुंभ-निशुंभ बिदारे
महिषासुर घाती ।
धूम्र विलोचन नैना
निशदिन मदमाती ॥
ॐ जय अम्बे गौरी.....॥

चण्ड-मुण्ड संहारे
शोणित बीज हरे ।
मधु-कैटभ दोउ मारे
सुर भयहीन करे ॥
ॐ जय अम्बे गौरी.....॥

ब्रह्माणी रूद्राणी
तुम कमला रानी ।
आगम निगम बखानी
तुम शिव पटरानी ॥
ॐ जय अम्बे गौरी.....॥

चौंसठ योगिनी मंगल गावत
नृत्य करत भैरों ।
बाजत ताल मृदंगा
अरू बाजत डमरू ॥
ॐ जय अम्बे गौरी.....॥

तुम ही जग की माता
तुम ही हो भरता
भक्तन की दुख हरता ।
सुख संपति करता ॥
ॐ जय अम्बे गौरी.....॥

भुजा चार अति शोभित
वर मुद्रा धारी । 
मनवांछित फल पावत
सेवत नर नारी ॥
ॐ जय अम्बे गौरी.....॥

कंचन थाल विराजत
अगर कपूर बाती ।
श्रीमालकेतु में राजत
कोटि रतन ज्योती ॥
ॐ जय अम्बे गौरी.....॥

श्री अंबेजी की आरति
जो कोइ नर गावे ।
कहत शिवानंद स्वामी
सुख-संपति पावे ॥
ॐ जय अम्बे गौरी.....॥

जय अम्बे गौरी
मैया जय श्यामा गौरी । 

 



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