चौदस के दिन दादी थारी ज्योत जगी चहुँओर लिरिक्स (Chaudas ke din dadi thari jyot jagi chahuor Lyrics in Hindi) - Rani Sati Dadi Bhajan - Bhaktilok

Deepak Kumar Bind

 

चौदस के दिन दादी थारी ज्योत जगी चहुँओर  लिरिक्स (Chaudas ke din dadi thari jyot jagi chahuor Lyrics in Hindi) - 


चौदस के दिन दादी थारी ज्योत जगी चहुँओर

धोक लगाने मावश को चालो केडधाम की ओर....


मावश का दिन है लागे भक्तों को प्यारा

फूलों से सबने तेरा मन्दिर सँवारा

मोहिनी सूरत प्यारी करे मनड़े ने विभोर

धोक लगाने मावश को चालो केडधाम की ओर

चौदस के दिन दादी थारी ज्योत जगी चहुँओर

धोक लगाने मावश को चालो केडधाम की ओर....


रोली है घोली दादी मेहंदी है घोली

हाथों में चुड़ला थारे पैरों में पोली

चुनड़ी है सतरंगी और बोरले में मोर

धोक लगाने मावश को चालो केडधाम की ओर

चौदस के दिन दादी थारी ज्योत जगी चहुँओर

धोक लगाने मावश को चालो केडधाम की ओर....


मंगल गाते तेरी रात जगाते

तुमको मनाते दादी तुमको रिझाते

देखी नही ऐसी दादी दुनिया में कहीं और

धोक लगाने मावश को चालो केडधाम की ओर

चौदस के दिन दादी थारी ज्योत जगी चहुँओर

धोक लगाने मावश को चालो केडधाम की ओर....


जिसने भी मन से दादी तुमको पुकारा

तुमने ही आकर उसको दिया है सहारा

थारे ही हाथों में है "मधु" की अब डोर

धोक लगाने मावश को चालो केडधाम की ओर

चौदस के दिन दादी थारी ज्योत जगी चहुँओर

धोक लगाने मावश को चालो केडधाम की ओर....


*** Rani Sati Dadi Bhajan ***


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