एक कोर कृपा की करदो स्वामिनी श्री राधे (Ek kor kripa ki kar do ladli shri radhe Lyrics in Hindi) -
एक कोर कृपा की
करदो स्वामिनी श्री राधे।
दासी की झोली
भर दो लाडली श्री राधे॥
मैं तो राधा राधा सदा ही रटूं
कभी द्वारे से लाडली के ना हटूं
मेरे शीश कमल पग
धर दो स्वामिनी श्री राधे।
मेरी आस ना टूटने पाए कभी
इस तन से प्राण जाएँ तभी
मुझे निज दर्शन का
वर दो स्वामिनी श्री राधे।
मुझे प्रीती की रीति सिखा दीजिए
निज नाम का मन्त्र बता दीजिए
मेरे मन की व्यथा सब
हर दो स्वामिनी श्री राधे।
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