पहला नवरात्रि - शैलपुत्री माता की कथा महिमा (अमृतवाणी) | Maa Sailputri Ki Katha | Varsha Shrivastava

Suraj

पहला नवरात्रि - शैलपुत्री माता की कथा महिमा (अमृतवाणी) -

दुर्गा मां के हैं रूप, 
सबकी अलग-अलग शक्तियां हैं।
देवी दुर्गा के नौ रूप होते हैं।
दुर्गाजी पहले स्वरूप में 
‘शैलपुत्री’ के नाम से जानी जाती हैं।
ये ही नवदुर्गाओं में प्रथम दुर्गा हैं।
पर्वतराज हिमालय के घर पुत्री 
रूप में उत्पन्न होने के कारण 
इनका नाम ‘शैलपुत्री’ पड़ा।
नवरात्र-पूजन में प्रथम दिवस 
इन्हीं की पूजा और उपासना की जाती है।
इस प्रथम दिन की उपासना में 
योगी अपने मन को ‘मूलाधार’ 
चक्र में स्थित करते हैं।
यहीं से उनकी योग 
साधना का प्रारंभ होता है।
मां शैलपुत्री की आराधना से 
मनोवांछित फल और कन्याओं को 
उत्तम वर की प्राप्ति होती है। 
साथ ही साधक को मूलाधार 
चक्र जाग्रत होने से प्राप्त होने 
वाली सिद्धियां हासिल होती हैं।
बताया जाता है कि नवरात्रों में 
मां दुर्गा अपने असल रुप में पृथ्‍वी पर ही रहती है।
इन नौ दिनों में पूजा कर हर 
व्यक्ति माता दुर्गा को प्रसन्न करना चाहता है।

Song: Maa Shailputri Ki Mahima 
Singer: Varsha Shrivastava 
Music: Vijay Nanda 
Lyricist: Dr. Jaya Nargis 
Video: Shravan Kumar 
Category: Mata Bhajan (Navratri Bhajan) 
Producers: Amresh Bahadur, Ramit Mathur 
Label: Yuki 


Post a Comment

0Comments

If you liked this post please do not forget to leave a comment. Thanks

Post a Comment (0)

#buttons=(Accept !) #days=(20)

Our website uses cookies to enhance your experience. Check Now
Accept !